बेरेट्स इसोफेगस क्या है?
बेरेट्स इसोफेगस ऐसी स्थिति है जिसमें इसोफेगस (आहारनलिका), माँसपेशियों से बनी नली जो आहार और तरल पदार्थों को मुँह से पेट तक ले जाती है, के ऊतकों की परतें आंतों की परतों से मिलते-जुलते ऊतकों द्वारा विस्थापित कर दी जाती हैं। इस प्रक्रिया को इन्टेस्टीनल मेटाप्लेसिया कहते हैं।यह जीईआरडी का दीर्घकालिक रूप है। बेरेट्स इसोफेगस के लिये डॉक्टरों द्वारा कभी-कभी उपयोग में लाया जाने वाला अन्य नाम कॉलमर-लाइन्ड इसोफेगस है।
रोग अवधि
ठीक होना व्यक्ति द्वारा लिए गए उपचार के प्रकार, आहार और जीवनशैली पर निर्भर करता है। आमतौर पर इसमें कुछ दिनों से लेकर कुछ सप्ताह तक लगते हैं। कुछ मामलों में शल्यक्रिया की सलाह दी जा सकती है।जाँच और परीक्षण
बेरेट्स इसोफेगस के निर्धारण में रोगी का शारीरिक परीक्षण और चिकित्सीय इतिहास का समावेश होता है, और जाँचों में हैं:- एण्डोस्कोपी
- एण्डोस्कोपिक बायोप्सी
- गतिशील अवस्था में चौबीस घंटों की पीएच की निगरानी।
डॉक्टर द्वारा आम सवालों के जवाब
Q1. बेरेट्स इसोफेगस क्या है?इसोफेगस निगलने हेतु माँसपेशियों से बनी नली है जो आहार और तरल पदार्थों को मुँह से पेट तक ले जाती है। बेरेट्स इसोफेगस में इसोफेगस की परतें सामान्य सफ़ेद रंग (जिन्हें स्क्वेमस म्युकोसा कहते हैं) से गुलाबी/लाल रंग की परतों (जिन्हें आंत के प्रकार की झिल्ली कहा जाता है) में परिवर्तित हो जाती हैं। इस प्रक्रिया को इन्टेस्टीनल मेटाप्लेसिया कहते हैं। यह जीईआरडी (गेस्ट्रो इसोफेजियल रिफ्लक्स डिजीज) का दीर्घकालिक रूप है। बेरेट्स इसोफेगस के लिये डॉक्टरों द्वारा कभी-कभी उपयोग में लाया जाने वाला अन्य नाम कॉलमर-लाइन्ड इसोफेगस (सीएलओ) है।
Q2. बेरेट्स इसोफेगस होने पर व्यक्ति को क्या करना चाहिए?
व्यक्ति को उचित वजन बनाए रखना चाहिए, कम मात्रा में खाना चाहिए, बार-बार भोजन (दिन में 3 बार, बीच में हलके नाश्ते के साथ) करना चाहिये, तंग कपड़े नहीं पहनना चाहिये, सीने में जलन करने वाले उत्प्रेरकों से बचना चाहिये, सामने या आगे झुकने से बचना चाहिए, दिन के अंतिम भोजन की मात्रा सीमित रखनी चाहिए और भोजन के बाद लेटने या सोने के लिए कम से कम तीन घंटों का अन्तराल रखना चाहिए।
अपने बिस्तर के सिरे को ब्लॉक्स या फोम के टुकड़ों के प्रयोग से ऊँचा कर लें ताकि नींद में एसिड के लौटने की समस्या से बचा जा सके।
धूम्रपान ना करें। ये पेट के एसिड को बढ़ाता है।
Q3. डॉक्टर से संपर्क कब करना चाहिए?
जब सीने में लगातार जलन बनी रहे, निगलने में कठिनाई हो, निगलते समय दर्द हो, मतली या उल्टी या तीव्र पेट दर्द हो तब व्यक्ति को डॉक्टर से तुरंत संपर्क करना चाहिए।
Q4. बेरेट्स इसोफेगस रोकने के लिए व्यक्ति को क्या करना चाहिए?
व्यक्ति को आहार में परिवर्तन करना चाहिए। वसायुक्त आहार, चॉकलेट, कैफीन, मसालेदार आहार, और पेपरमिंट एसिड के वापस लौटने को बढ़ाते हैं। शराब, कैफीनयुक्त पेय और तम्बाकू ना लें। वजन घटाएँ। वजन का अधिक होना एसिड वापस लौटने के खतरे को बढ़ाता है। बिस्तर के सिरे को ऊँचा रखकर सोएँ। सिर को ऊँचा रखकर सोने से पेट के एसिड को वापस आहारनली में लौटने से रोका जा सकता है। भोजन के बाद 3 घंटों तक ना लेटें। सभी औषधियाँ पानी की अधिक मात्रा के साथ लें। जीईआरडी का निर्धारण और चिकित्सा बेरेट्स इसोफेगस को रोकने में सहायक होती है।
Q5. क्या बेरेट्स इसोफेगस कैंसर के होने की संभावना को बढ़ाता है?
जी हाँ। बेरेट्स इसोफेगस वाले रोगियों को इसोफेगस का कैंसर उत्पन्न होने की अधिक संभावना होती है। हालाँकि, बेरेट्स इसोफेगस के अधिकतर रोगियों को कैंसर नहीं होता। पैथोलॉजी विशेषज्ञ को बेरेट्स इसोफेगस का पता लगते ही, आपके डॉक्टर आपकी आहार नलिका के परीक्षण की संख्या और कैंसर हेतु की जाने वाली बायोप्सी की संख्या बढ़ा सकते हैं