रोकथाम (बचाव)
इस रोग के संक्रमण से बचने का सर्वोत्तम तरीका टीकाकरण है।
शौचालय के प्रयोग के बाद सावधानी से हाथ धोना।
संक्रमित व्यक्तियों को संक्रमणकाल में भोजन की और अन्य घरेलू वस्तुओं की देखभाल/स्पर्श नहीं करना चाहिए।
ताजा पका भोजन ही करें।
केवल बोतलबंद पानी या यदि आपको स्वच्छता में शंका है तो उबले पानी का सेवन करें।
यदि आप ऐसे स्थान पर हैं जहाँ स्वच्छता का स्तर विश्वास योग्य नहीं है तो केवल वे फल खाएं जिन्हें आप छील सकें।
कच्ची सब्जियाँ तभी खाएँ जब आपको उनके अच्छी तरह से साफ़/रोगाणुमुक्त होने का विश्वास हो।
उचित तरीके से हाथों को धोना और टीका लगवाना संक्रमण को रोकने के दो मुख्य उपाय हैं।
ध्यान देने की बातें
गहरे रंग का मूत्र।
पेट में तीव्र दर्द।
डिहाईड्रेशन के लक्षण
डॉक्टर को कब दिखाएँ
आँखों में पीलापन
खून की उल्टी
खून वाली या मिटटी के रंग की आँव या मल
अपने डॉक्टर से संपर्क करें यदि आपको निम्न लक्षण हों
खून की उल्टी
खून वाली या मिटटी के रंग की आँव या मल
असमंजस की स्थिति या बेसुध होना
डिहाईड्रेशन के लक्षण हों: मूत्रत्याग में वृद्धि, अधिक गहरा मूत्र, मुँह सूखना, पेय पदार्थ लेने से इंकार, रोते समय आँसू ना निकलना
अत्यंत चिढ़चिढ़े या उनींदे होना
हाथों, भुजाओं, पैरों, टखनों, पेट और चेहरे पर सूजन
नाक, मुंह, या गुदाद्वार से रक्तस्राव, या मल में रक्त होना
सामान्य से अधिक आसानी से चोट लगना
VIDEO
हेपेटाइटिस A, एचएवी, हेवरिक्स, ट्विनरिक्स, प्रतिरोधक शक्ति, हेपेटाइटिस, लिवर की सूजन, गहरे रंग का मूत्र, आँखों में पीलापन, हेपेटाइटिस A से निवारण, piliya rog, piliya ki roktham aur jatiltain, piliya se bachav aur nivaran, piliya doctor ko kab dikhayein,
Like this: Like Loading...
Related