मलेरिया आहार – लेने योग्य आहार: चूंकि पसीने और बुखार में शरीर के तरल पदार्थ की अधिक हानि हो जाती है, अधिक मात्रा में तरल पदार्थ जैसे कि सूप, दूध, नीबू पानी आदि लेना चाहिए। नमक और शक्कर के साथ पानी भी उत्तम होता है। नारियल पानी उल्टियों को कम करने में और तरल पदार्थ और इलेक्ट्रोलाइट की कमी को पूरा करने में विशेष लाभकारी है। विटामिन A की कमी से ग्रस्त लोगों में मलेरिया की संभावना अधिक होती है, इसलिए विटामिन A से भरपूर आहार जैसे कि दूध, फल (आम, पपीता) और सब्जियाँ (गाजर, टमाटर, सहजन, एमेरंथ, पालक, कद्दू) लिये जाने चाहिए।
लेखक: Tejesvi Reddy (Pharmacologist)
मलेरिया: रोकथाम और जटिलताएं
मलेरिया रोकथाम – अपने आस-पास मच्छरों का पनपना रोकें, आवश्यक स्वच्छता बनाये रखें.
मलेरिया: प्रमुख जानकारी और निदान
मलेरिया मच्छरों से उत्पन्न होने वाली बीमारी है जो एक सूक्ष्मजीवी द्वारा लाल रक्त कणिकाओं के संक्रमण से होती है।.
मलेरिया: लक्षण और कारण
मलेरिया लक्षण – तेज/अधिक बुखार, थकावट, सिरदर्द, माँसपेशियों में दर्द, पेट में गड़बड़ी. मलेरिया कारण – परजीवी संक्रमित मच्छर के काटने से मलेरिया होता है।.
हाइपोथाइरोइडिसम: प्रमुख जानकारी और निदान
हाइपोथाइरोइडिसम में थाइरोइड ग्रंथि उचित रूप से सक्रिय नहीं होती और आवश्यक मात्रा में थाइरोइड हार्मोन उत्पन्न नहीं करती।.
हाइपोथाइरोइडिसम: लक्षण और कारण
हाइपोथाइरोइडिसम लक्षण – वजन में बढ़ोतरी, थकावट, भूलने की समस्या, सीखने में कठिनाई, उनींदापन. हाइपोथाइरोइडिसम कारण – आयोडीन की कमी, तनाव, अन्य संक्रमण.
हाइपोथाइरोइडिसम: घरेलु उपचार, इलाज़ और परहेज
हाइपोथाइरोइडिसम आहार – लेने योग्य आहार: भूरा चावल, साबुत अनाज, चोकर, जई, गाजर, प्याज, पालक, एस्पार्गस, एवोकेडो, जैतून का तेल, नारियल का तेल, खुबानी, केले, सूर्यमुखी के बीज और तैलीय मछली, पर्याप्त पानी पियें। आयोडीन से समृद्ध आहार जैसे आयोडीन युक्त नमक, समुद्री सीवार और समुद्री भोजन, नमकीन पानी की मछली, सुशी, नोरी रोल्स, केल्टिक समुद्री नमक।
हाइपोथाइरोइडिसम: रोकथाम और जटिलताएं
हाइपोथाइरोइडिसम रोकथाम – धूम्रपान त्यागें, तनाव कम करें, प्रतिदीन व्यायाम करें और चुस्त रहें, छाना हुआ पानी पियें.
जीईआरडी: रोकथाम और जटिलताएं
जीईआरडी रोकथाम – आवश्यक स्वच्छता बनाये रखें। उचित तरीके से बना हुआ और रखा हुआ आहार लें। धूम्रपान त्यागें।.
जीईआरडी: घरेलु उपचार, इलाज़ और परहेज
जीईआरडी आहार – लेने योग्य आहार: फल जैसे कि सेब (ताजे और सुखाये हुए), सेब का रस, केले, नाशपाती, आडू, तरबूज और खरबूज, स्ट्रॉबेरी, अंगूर। सब्जियाँ जैसे कि भुना आलू, ब्रोकोली, पत्तागोभी, गाजर, सेम, मटर, एस्परेगस, लेट्यूस, शक्करकंद। बिना खाल का चिकन, अंडे की सफेदी, मछली (बिना अतिरिक्त वसा के)।