लकवा (पैरालिसिस): प्रमुख जानकारी और निदान

लकवा (पैरालिसिस) क्या है?

लकवा (पैरालिसिस) एक या अधिक माँसपेशियों को संचालित करने की क्षमता की हानि को कहते हैं, जिसके कारण अनुभव करने में और अन्य शारीरिक कार्यों में भी अक्षमता उत्पन्न होती है. लकवे के अनेक प्रकार हैं जिनमें:
  • मोनोप्लेजिया जिसमें केवल एक अंग ही लकवाग्रस्त होता है।
  • हेमिप्लेजिया शरीर के किसी एक तरफ के हाथ और पैर दोनों लकवाग्रस्त हो जाते हैं।
  • पेराप्लेजिया जब दोनों पैर और कभी-कभी कमर के नीचे का क्षेत्र भी लकवाग्रस्त हो जाता है।
  • टेट्राप्लेजियाजब दोनों हाथ और पैर लकवाग्रस्त हो जाते हैं (इसे क्वाड्रीप्लेजिया भी कहते हैं)।
Paralysis overview

रोग अवधि

लकवा ठीक होना इस बात पर निर्भर होता है कि उत्पन्न होने का कारण क्या है और तंत्रिका तंत्र (नर्वस सिस्टम) को कितनी क्षति हुई है।

जाँच और परीक्षण

रोगी की चिकित्सीय स्थित जानने हेतु शारीरिक परीक्षण जिनमें आघातों के प्रकरण, विषैले तत्वों का प्रभाव, निकट समय में हुई शल्यक्रिया या संक्रमण, सिरदर्द, पहले से उत्पन्न मेटाबोलिक रोग, और पारिवारिक इतिहास तथा तंत्रिकाओं से सम्बन्धित अन्य स्थितियाँ आदि के बारे में जाना जाता है। आकृति के आधार पर अध्ययन करने वाली जाँचों में:
  • कंप्यूटेड टोमोग्राफी स्केन्स (सीटी स्केन्स)।
  • मैग्नेटिक रेजोनेंस इमेजिंग (एमआरआई स्केन्स)।
  • माएलोग्राफी
  • इलेक्ट्रोमायोग्राफी

डॉक्टर द्वारा आम सवालों के जवाब

Q1. लकवा उत्पन्न करने वाली मेरुदंड की चोट का उपचार क्या है?
तीव्र एससीआई की स्थिति के उपचार में रीढ़ को दबने से बचाने के लिए तकनीक, कोशिकाओं की क्षति को रोकने हेतु कोर्टिकोस्टेरॉयड जैसे मिथाइल प्रेडनिसोलोन द्वारा त्वरित (चोट के 8 घंटों के भीतर) ड्रग चिकित्सा, और आगे की चोट व क्षति रोकने के लिए रीढ़ के मणियों को स्थिर करना आदि आती हैं।

Q2. क्या मेरुदंड की चोट अपने आप ठीक हो जाती है
शरीर के अधिकतर हिस्से और अंग चोट लगने पर स्वयं को ठीक करते हैं लेकिन केंद्रीय तंत्रिका तन्त्र ऐसा नहीं कर सकता। लेकिन फिर भी एससीआई द्वारा उत्पन्न क्षति को कोशिकाओं की तुरंत होने वाली मृत्यु को नियंत्रित करके और चोटग्रस्त रीढ़ की सूजन कम करके घटाया जा सकता है।
तंत्रिका कोशिका की देह जुड़ी हुई होती है, और केवल “भेजने वाले” और “प्राप्त करने वाले” तंतुओं को कोशिका के बाहर से लम्बी दूरी तक पहुँच के लिए फिर से बढ़ना होता है। मस्तिष्क और मेरुदंड के बाहर स्थित तन्त्रिकाएं ये कार्य आसानी से कर सकती हैं।

Q3. मुझे और मेरे मित्र को समान स्तर की चोट लगी लेकिन उसे अपने पैरों का एहसास होता है और मुझे नहीं. ऐसा क्यों?
आपकी अनुभव और गति की मात्रा इस बात पर निर्भर है कि मेरुदंड का कौन सा हिस्सा क्षतिग्रस्त हुआ है। आपके मित्र के मेरुदंड का वह हिस्सा जो अनुभव की सूचना देने वाला होता है, सुरक्षित बचा है जबकि गति को नियंत्रित करने वाले हिस्से में क्षति हो गई है।



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