परहेज और आहार
लेने योग्य आहार
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बीटा कैरोटीन कोलेजन का, जो कि मोच के दौरान क्षतिग्रस्त स्नायुओं का निर्माण करता है, मुख्य कारक तत्व है। प्राकृतिक बीटा कैरोटीन के अच्छे स्रोतों में गहरे हरे रंग की पत्तेदार सब्जियाँ जैसे पालक या केल, ब्रोकोली, और गाजर आदि हैं।
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विटामिन सी शरीर की सूजन घटाने में सहायक होता है। विटामिन सी के बढ़िया स्रोतों में पत्तागोभी, शिमला मिर्च, कीवी, खट्टे फल जैसे संतरे, नीबू और ग्रेपफ्रूट आदि हैं।
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माँसपेशियों और जोड़ों के स्वास्थ्य के लिए प्रोटीन की आवश्यकता होती है। प्रोटीन के अच्छे स्रोतों में अंडा, चिकन, मछली, मेवे दूध आदि हैं।
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कैल्शियम हड्डियों को पोषण देने वाला खनिज है। कैल्शियमयुक्त भोज्य पदार्थों में ब्रोकोली, दूध, केल, फलियाँ, पनीर, सोयाबीन, दही, मछली आदि हैं।
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जिंक घाव और ऊतकों की मरम्मत में सहायता करता है और हड्डियों के स्वास्थ्य के लिए आवश्यक है। जिंक के उत्तम स्रोत में जौ, गेहूँ, चिकन और पालक आते हैं।
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ओमेगा 3 फैटी एसिड सूजन कम करने में सहायक होते हैं, इन एसिड्स के उत्तम स्रोत में मीठे पानी की मछली, अखरोट, अलसी के बीज और पत्तागोभी आते हैं।
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विटामिन डी आपकी हड्डियों के निर्माण और मरम्मत के लिए, आपके शरीर को कैल्शियम और फॉस्फोरस के अवशोषण में मदद करता है। अंडे, दूध और कुछ प्रकार की मछलियाँ विटामिन डी प्रदान करती हैं; सूर्य के सम्मुख होने पर आपका शरीर भी इसका निर्माण करता है।
इनसे परहेज करें।
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ठन्डे आहार जैसे शीतल पेय, बियर, आइसक्रीम नहीं लेने चाहिए, क्योंकि ठंडी वस्तुएँ रक्तसंचार को धीमा कर देती हैं, और इस कारण ठीक होने की गति भी धीमी हो जाती है।
योग और व्यायाम
स्वास्थ्य सेवा प्रदाता आपको व्यायाम का निश्चित कार्यक्रम देंगे जो जकड़न को रोकने वाला, गति की सीमा को बढ़ाने वाला, और लचीलेपन और मजबूती को बढ़ाने वाला होता है।
घरेलू उपाय (उपचार)
पहले 48-72 घंटों में पीआरआईसीई – प्रोटेक्ट (बचाव), रेस्ट (आराम), आइस (बर्फ), कम्प्रेशन (दबाव), एलिवेशन (उत्थापन) के बारे में सोचें।
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सहारे के प्रयोग द्वारा चोटग्रस्त क्षेत्र को फिर से चोटिल होने से बचाएँ।
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चोट या मोचग्रस्त हिस्से को आराम दें।
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प्रत्येक घंटे बाद 20 मिनट के लिए बर्फ लगाएँ। बर्फ को त्वचा पर सीधे ही ना रखें अन्यथा ये त्वचा को क्षति पहुँचा सकता है। सुरक्षा के लिए पतले कपड़े का प्रयोग करें।
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चोटग्रस्त क्षेत्र के आसपास इलास्टिक बैंडेज को हलके से (तंग ना हो) बांधकर दबाव दें।
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इसका स्तर ह्रदय के ऊपर रखें।
एचएआरएम ना करें- अर्थात हीट (गर्म सिंकाई), अल्कोहल (शराब), रनिंग (दौड़ना), या मसाज (मालिश) ये ना करें।
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हीट (गर्म सिंकाई)- जैसे गर्म स्नान, सॉना या गर्म पैक (प्रभावित जोड़ों पर गर्मी की नियंत्रित मात्रा का प्रयोग)।
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अल्कोहल (शराब)- शराब पीने से रक्तस्राव और सूजन बढ़ती है और ठीक होने की गति धीमी होती है।
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रनिंग (दौड़ लगाना)- या कोई भी अन्य व्यायाम जो क्षति को बढ़ा दे।
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मसाज (मालिश)-जो रक्तस्राव और सूजन बढ़ा सकता है।
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